शिक्षक दिवस पर एक शिक्षक व दो शिक्षिकाओं को मिला राजकीय शिक्षक पुरस्कार 2025

पटना में आयोजित राज्य स्तरीय समारोह में वंदना, अनीता और अश्विनी को सम्मानित किया गया
चकिया/पटना। शिक्षक दिवस के अवसर पर पटना स्थित श्रीकृष्ण मेमोरियल हॉल में आयोजित भव्य समारोह में तीन शिक्षकों को राजकीय शिक्षक पुरस्कार 2025 से सम्मानित किया गया। इनमें वंदना कुमारी, अनिता देवी और अश्विनी कुमार शामिल हैं। यह सम्मान उन्हें शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान और समाज में शिक्षा की अलख जगाने के लिए दिया गया।
सम्मानित शिक्षकों की उपलब्धियां, वंदना कुमारी – नवसृजित प्राथमिक विद्यालय, साहू टोला बांध निकट जमुनिया की प्रधान शिक्षिका वंदना कुमारी ने बच्चों के सर्वांगीण विकास को अपना लक्ष्य बनाया है। वे विद्यार्थियों में सहयोग और अनुशासन की भावना विकसित करने के साथ ही उन्हें स्वास्थ्य, स्वच्छता और पोषण के महत्व के प्रति जागरूक करती हैं।
विशेष रूप से छात्राओं के बीच वे मासिक धर्म से जुड़ी समस्याओं और उनके समाधान के विषय में नियमित रूप से जानकारी देती हैं। उनकी यह पहल छात्राओं के आत्मविश्वास और स्वास्थ्य सुधार में मील का पत्थर साबित हो रही है। अनिता देवी – राजकीय मध्य विद्यालय, जमुनिया खास, घोड़ासहन की शिक्षिका अनिता देवी को उनके नवाचारी और व्यवहारिक शिक्षण पद्धति के लिए सम्मानित किया गया।
उन्हें “चलता-फिरता टीएलएम” (शैक्षिक सामग्री) कहा जाता है क्योंकि वे साधारण वस्तुओं और रोजमर्रा की चीजों का उपयोग करके कठिन विषयों को बच्चों के लिए आसान और रोचक बना देती हैं। उनके प्रयास से विद्यालय में बच्चों की उपस्थिति और शिक्षा के स्तर में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। अश्विनी कुमार – उच्च विद्यालय, सरोत्तर, केसरिया के शिक्षक अश्विनी कुमार को विद्यार्थियों में विज्ञान और तकनीकी शिक्षा के प्रति जिज्ञासा जगाने के लिए पुरस्कृत किया गया।
वे बच्चों को प्रयोगात्मक गतिविधियों से जोड़ते हैं और ग्रामीण क्षेत्र में रहते हुए भी उन्हें आधुनिक विज्ञान और तकनीक से परिचित कराने का निरंतर प्रयास करते हैं। उनके प्रयासों से कई छात्र-छात्राओं ने विज्ञान प्रतियोगिताओं में बेहतर प्रदर्शन किया है। समारोह में प्रदेश भर से आए शिक्षकों, अधिकारियों और गणमान्य व्यक्तियों ने भाग लिया।
इस अवसर पर शिक्षा विभाग के वरिष्ठ पदाधिकारियों ने शिक्षकों की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि “डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के आदर्शों से प्रेरित होकर शिक्षक समाज में ज्ञान और संस्कार की ज्योति जलाते हैं।”
राजकीय शिक्षक पुरस्कार से सम्मानित होने पर सभी शिक्षकों को प्रशस्ति पत्र, प्रतीक चिह्न और सम्मान राशि प्रदान की गई।
सम्मान मिलने के बाद वंदना कुमारी ने कहा,
“यह पुरस्कार मेरे लिए प्रेरणा है। मेरा लक्ष्य बच्चों को न केवल पढ़ाना है, बल्कि उन्हें एक अच्छा नागरिक बनाना है।”
अनिता देवी ने इसे अपने विद्यालय और क्षेत्र के लिए गर्व का क्षण बताया, वहीं अश्विनी कुमार ने कहा कि यह सम्मान उन्हें शिक्षा में और अधिक नवाचार करने की प्रेरणा देगा।
शिक्षक दिवस 2025 पर पटना में आयोजित यह समारोह न केवल सम्मानित शिक्षकों की उपलब्धियों का उत्सव था, बल्कि यह पूरे समाज के लिए संदेश भी था कि शिक्षा ही वास्तविक बदलाव की कुंजी है। वंदना, अनीता और अश्विनी जैसे शिक्षक इस बात के उदाहरण हैं कि समर्पण, नवाचार और परिश्रम से शिक्षा की गुणवत्ता को नए आयाम दिए जा सकते हैं।