डुमरांवबक्सरबिहार

महारानी उषारानी बालिका मध्य विद्यालय की बच्चियों ने प्रोजेक्ट वर्क के रूप में विज्ञान के विभिन्न चीजों को दर्शाया

-बैगलेस शनिवार को विद्यालयों में गतिविधियों के माध्यम से बच्चों को किया गया जागरूक
-उर्दू प्राथमिक विद्यालय कोरानसराय में सर्पदंश से बचाव को लेकर किया गया जागरूक

डुमरांव. शनिवार के दिन राजगढ़ परिसर में अवस्थित महारानी उषारानी बालिका मध्य विद्यालय में बैगलेस शनिवार मनाया गया. आज के दिन सारी बच्चियों ने  प्रोजेक्ट वर्क के रूप में विज्ञान के विभिन्न चीजों को दर्शाया.

इस क्रम में सभी बच्चियों ने अपनी कला का अद्भुत प्रश्न प्रदर्शन किया. कुछ बच्चियों ने दीवाल पर महापुरुषों के चित्र अंकित किए, जबकि कुछ बच्चियों ने प्रोजेक्ट के माध्यम से विज्ञान के बहुत सारी चीजों को दर्शाया. इसमें सबके आकर्षण का केंद्र संजू कुमारी और उनके दोस्तों द्वारा बनाया गया सौरमंडल था.

सौर मंडल के विभिन्न ग्रहों को एक बहुत ही आकर्षक रूप से बनाया गया. जिसमें हर एक ग्रहों का वर्णन भी किया गया था. इसी क्रम में जैनब नाम की छात्रा ने मोमबत्ती और उसके ज्वाला के विभिन्न क्षेत्रों को दर्शाया. सिस्मोग्राफ को संतोषी, बिंदु, रिंकू और अनीसा ने बनाया. सूक्ष्मदर्शी के उपयोग और उसके आकार का वर्णन आकांक्षा, ऋषिका और वर्षा ने किया.

जबकि सम्मी कुमारी ने पेट्रोलियम परिष्करण को दर्शाया और चंदा ने भूपर्पटी को दर्शाया. सभी बच्चियों ने सरकार की बैगलेस शनिवार की पहल को काफी धन्यवाद दिया. सभी बच्चियां इस तरह के आयोजन से काफी खुश थी. उन्होंने कहां कि हमें पढ़ने में बहुत मन लग रहा ह,ै इसी तरह से अगर पढ़ाई होती रही तो हम लोग भविष्य में काफी अच्छा कर पाएंगे.

उर्दू प्राथमिक विद्यालय कोरानसराय में हुई सर्पदंश से बचाव पर चर्चा

मुख्यमंत्री विद्यालय सुरक्षा कार्यक्रम अंतर्गत बैगलेस सुरक्षित शनिवार को उर्दू प्राथमिक विद्यालय कोरानसराय में सर्पदंश से बचाव पर चर्चा करते हुए फोकल शिक्षक तबरेज आलम द्वारा बच्चों को बताया गया कि सर्पदंश की अज्ञानता से इसके मृत्यु दर में निरंतर बढ़ोतरी हो रही है. भारत में लगभग 300 प्रकार के सर्प पाए जाते हैं. प्रधानाध्यापक इंद्रेश कुमार मिश्रा ने बताया कि बिहार में विषैलें सर्प के रूप में नाग और करेत पाए जाते हैं.

इस अवसर पर शिक्षा सेवक रहमतुल्लाह व बाल संसद के छात्र-छात्राओं में सोनी, पूजा, लवली, सलोनी, इंदल, कार्तिक, रोहित के साथ-साथ विद्यालय के सभी बच्चें उपस्थित रहें. चहक गतिविधि अंतर्गत बच्चों के मन से कराई गई गतिविधि रेलगाड़ी में सभी ने उत्साह पूर्वक भाग लिया. रेलगाड़ी, रेलगाड़ी छुक छुक करती रेलगाड़ी, रेलगाड़ी बोलते हुए आगे बढ़ते रहें और गतिविधि करते रहें.

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