पटना। बक्सर की घटना और श्रीरामचरितमानस ग्रंथ के अपमान को लेकर बक्सर सांसद सह केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे जेपी प्रतिमा के नीचे गांधी मैदान पटना में एक दिवसीय धरना दिए। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार समस्या कुमार हैं। वे कुछ भी समाधान नहीं चाहते हैं। समाधान की मंशा रहती तो, बक्सर दौरे के दौरान बनारपुर के किसानों ने मिलते, उनका दुख दर्द सुनते। किसानों की समस्या का समाधान करते। लेकिन कुछ नहीं हुआ। नीतीश बाबू पिकनिक यात्रा पर हैं। वे लोकनायक जयप्रकाश नारायण जी के सिद्धांतों को भूल चुके हैं। बिहार की लठमार सरकार किसी की नहीं सुनती हैं। इसलिए अब मौन रखकर सरकार के रवैये को जनता के सामने रखूंगा। मौन में बड़ी ताकत होती है। परशुराम चतुर्वेदी की कुर्बानी बर्बाद नहीं जाएगी।
बिहार सरकार को जनता के सहयोग से जड़ से उखाड़ फेंकने के जेपी की प्रतिमा के सामने मौन व्रत उपवास रखकर इसकी शुरुआत कर दिया हूँ। 24 जनवरी को दरभंगा में मौन व्रत रखूंगा। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार केंद्रीय योजनाओं को लटका रहे हैं। बिहार में श्रीरामचरितमानस ग्रंथ का अपमान हुआ। सरकार चुप रही। अभी तक कार्रवाई नहीं हुई। किसानों व नौजवान साथियों के साथ यह सरकार कब न्याय करेगी। आज किसान यूरिया के लिए बेहाल है। बिहार सरकार से जब जवाब मांगा जाता है तो लाठी मिलती है। नीतीश बाबू कहते हैं, मुझे पता नहीं ? अभी तक पुलिस पर कार्रवाई नहीं हुई। मेरे पर जानलेवा हमले का प्रयास हुआ। मौन रहने के दौरान केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे श्रीरामचरित मानस का पाठ करते रहे। उनके मौन व्रत के समर्थन में बिहार प्रदेश के सभी नेता और पदाधिकारी पहुँचे।
धरना को संबोधित करते हुए भारतीय जनता पार्टी बिहार प्रदेश के अध्यक्ष डॉ संजय जायसवाल ने कहा कि बिहार सरकार हर मोर्चे पर विफल हो गई है। किसानों व नौजवानों के साथ धोखा हो रहा है। केंद्रीय योजनाओं को जान बूझकर लटकाया जा रहा है। बक्सर में जब किसानों ने हक माँगा, तब उन्हें लाठियां मिली। श्रीरामचरितमानस का अपमान हुआ। आखिर बिहार सरकार क्यों नहीं किसानों को मुआवजा दे रही है। इसका जवाब देना होगा। पूर्व केंद्रीय मंत्री सांसद रविशंकर प्रसाद ने कहा कि नीतीश कुमार को संगत का असर हो गया है। आखिर वे लाठियां क्यों चलवा रहे हैं। जेपी आंदोलन में नीतीश कुमार भी शामिल थे। हमने लाठियां खाई है। नीतीश कुमार ने जेपी के सिद्धांतों को छोड़ दिए हैं। किसानों के हक के लिए संघर्ष जारी रहेगा।
पूर्व केंद्रीय मंत्री सह सांसद रामकृपाल यादव ने कहा कि बिहार सरकार किसानों पर बर्बरता कर रही है। नौजवान, महिला सभी परेशान है। विधान परिषद में प्रतिपक्ष के नेता सम्राट चौधरी ने कहा कि राजद-जदयू-कांग्रेस उनके सहयोगी दलों की सरकार बिहार में अराजकता फैला रही है। बक्सर की घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। बिहार सरकार को न्याय देना होगा। आज पूरी बिहार सरकार सत्ता में मदहोश है। प्रतिपक्ष के नेता विजय सिन्हा ने कहा कि सोची समझी योजना के तहत आज हमारी संस्कृति पर हमला बोला जा रहा है। जो अपनी संस्कृति व विरासत पर गर्व नहीं करते हैं, वे जानवर हैं। नीतीश कुमार समाधान नहीं व्यवधान यात्रा पर हैं। किसानों व नौजवानों को पीटा जा रहा है। अपराध चरम पर है।
पूर्व केंद्रीय मंत्री विधान परिषद डॉ संजय पासवान ने कहा कि श्रीरामचरितमानस का अपमान श्रीराम व माता सीता का अपमान है। पूरी संस्कृति का अपमान है। किसी भी सूरत में यह बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे का उपवास रिक्शा चालक चन्देश्वर पासवान ने नारियल पानी पिलाकर तोड़वाया। केंद्रीय मंत्री श्री चौबे ने साबित रोहतासी को श्रीरामचरितमानस पुस्तक भेंट की। धरना में विधायक अरुण सिन्हा, पूर्व सांसद वीरेंद्र चौधरी प्रदेश बीजेपी उपाध्यक्ष सिद्धार्थ शंभू, प्रदेश महामंत्री सुशील चौधरी, प्रदेश मंत्री पूनम शर्मा, किसान मोर्चा के अध्यक्ष सरोज रंजन पटेल, मीडिया प्रभारी अशोक भट्ट, राजू झा बीजेपी उद्योग मंच के सह संयोजक मनीष तिवारी, युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष दुर्गेश सिंह, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष युवा मोर्चा मनीष कुमार, युवा भाजपा नेता अर्जित चौबे सहित भारतीय जनता पार्टी के बड़ी संख्या में पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता मौजूद थे
बक्सर से भी बड़ी संख्या में किसानों एवं पार्टी कार्यकर्ताओं ने शिरकत की। बक्सर आरा से मुख्य रूप से रामकुमार सिंह,राजवंश सिंह, सतेंद्र कुंवर, राणा प्रताप सिंह, कतवारू सिंह, मृत्युंजय सिंह, नवीन राय, शेषनाथ पाठक, पूनम रविदास, सुनील राम, विनोद राय, इंदु देवी, रासबिहारी दुबे, अमरेंद्र पांडेय, कौशल विद्यार्थी, श्रीमन्नारायण, धनंजय राय, विमल सिंह, निर्भय राय, मुन्ना सिंह, अमर गोंद, जयप्रकाश चौबे, नंदजी सिंह, राहुल आंनद, विकेश पांडेय, संजय पासवान, दिलीप मिश्रा, भरत प्रधान, अजय तिवारी, नितिन मुकेश, राहुल दुबे, हिमांशु शेखर मिश्रा, आदि उपस्थित थे।