जिले की आशा कार्यकर्ताएं बनेंगी हाईटेक, एम आशा एप का दिया गया प्रशिक्षण
राज्य मुख्यालय से आए प्रशिक्षकों ने आशा फैसिलिटेटर्स को प्रशिक्षण देकर बनाया मास्टर ट्रेनर
फैसिलिटेटर अपने अपने क्षेत्रों की आशाओं को करेंगी प्रशिक्षित
बक्सर, 24 जून | मुख्यमंत्री डिजिटल हेल्थ योजना (एमडीएचवाई) के अंतर्गत बिहार राज्य स्वास्थ्य प्रणाली डिजिटलीकरण (भव्या) एप के माध्यम से मरीजों को उपलब्ध तमाम तरह की सेवाएं पेपर लेस करने के लिए कवायद शुरू कर दी गई है। जिसके तहत अब डिजिटल मिशन काे घर-घर तक पहुंचाने के लिए आशा कार्यकर्ताओं काे स्मार्ट बनाने का काम शुरू किया गया है।
इस क्रम में सोमवार काे राज्य मुख्यालय से आई टीम ने सदर अस्पताल में बक्सर और इटाढ़ी प्रखंड की आशा फैसिलिटेटर काे एम आशा एप के प्रयोग को लेकर प्रशिक्षण दिया। 28 जून तक चलने वाले इस शिविर में प्रतिदिन दो-दो प्रखंडों की आशा फैसिलिटेटर्स को प्रशिक्षण दिया जाएगा।
जिसमें उन्हें एम आशा एप के संचालन को लेकर दक्ष बनाया जाएगा। स्वास्थ्य सेवाओं के पेपर लेस हो जाने के बाद सेवाओं का जहां सुदृढीकरण होगा, वहीं इसके माध्यम से मरीजों को उपलब्ध सेवाओं की निगरानी व निरीक्षण की प्रक्रिया आसान होगी।
सुविधाओं काे पाेर्टल पर सीधे करेंगी अपलाेड
प्रशिक्षण सत्र के पहले दिन एम आशा एप के उपयाेग के बारे में ट्रेनर रजनीश मेहता और बबलू महतो ने एप के संबंध में आशा फैसिलेटराें काे विस्तार से बताया। किस प्रकार आशा फील्ड में जाकर एप के माध्यम से सभी कार्यों की प्रविष्टि करेंगी।
साथ ही, एप के माध्यम से लाेगाें काे हाेने वाली बीमारियाें समेत अन्य असुविधाओं काे सीधे पाेर्टल पर अपलाेड करेंगी। स्टेट टीम मैनेजर अभिषेक तिवारी और दुर्गा शंकर सिंह ने बताया कि गांव में हाेने वाली जन्म-मृत्यु, प्रसव, फाइलेरिया, मलेरिया, एर्ईएस, बुखार, डायरिया समेत सभी प्रकार की बीमारियाें समेत अन्य गतिविधियाें काे इस डिजिटल एप से जाेड़ा गया है।
ताकि ग्रामीण इलाकों में किसी भी तरह के कार्यों को समय सीमा के अंदर पूरा करने में आशा कार्यकर्ताओ को किसी प्रकार की परेशानियों का सामना न करना पड़े। वहीं, घर-घर जाकर सर्वे करना, ड्यू लिस्ट तैयार करना आदि सभी इस एप के माध्यम से आशा पाेर्टल पर अपलाेड करेंगी।