चौसा, 11 जनवरी 2022 : बक्सर के चौसा पावर प्लांट पर भूमिअधिग्रहण की मुआबजे को लेकर चल रहा किसानों के प्रदर्शन के हिंसक होने की पूरी जिम्मेदारी व जवाबदेही प्रशासन की है । पिछले 86 दिनों से शांतिपूर्ण तरीके से धरने पर बैठे किसानों के घरों में आधी रात को पुलिस प्रशासन द्वारा किया गया हमला बेहद निन्दनीय है व आपराधिक कृत्य है । अगर समय रहते प्रशासन ने पहलकदमी ली होती तो निश्चित तौर पर ये घटना नहीं घटती । आज पुलिस के उकसावे पर किसानों के उग्र होने पर साजिसन कुछ असामाजिक तत्वों ने आन्दोलन को कमजोर व बदनाम करने के लिए कंपनी में तोड़फोड़ किया और आगजनी की है ।
सरकार द्वारा वादे किए दर पर भूमिअधिग्रहण के मुआबजे का भुगतान नहीं किया है । लेकिन फिर से रेलवे लाइन बिछाने के लिए जो भूमिअधिग्रहण किया जा रहा है, उसका भुगतान भी 2013 की दर से ही किया जा रहा है । किसान सरकार से अपने वादे के मुताबिक निर्घारित मुआबजे का भुगतान करने तथा नये भूमिअधिग्रहण का भुगतान नए व वर्तमान दर से करने की मांग कर रहे हैं, जो उनकी जायज मांग है। हम और हमारी पार्टी भाकपा- माले किसानों की जायज मांग के साथ खड़ी है ।
हम प्रशासन से मांग करते हैं कि किसानों पर जोर जुल्म अविलम्ब रोक जाय। आधीरात को घरों में घुसकर किसान के परिवार पर लाठी चलाने वाले पुलिस कर्मियों को अविलम्ब सस्पेंड कर जाँच बैठाए और कानूनी कार्रवाई करे।