डुमरांवबक्सरबिहार

औचक आंधी रात अनुमंडलीय अस्पताल पहुंच सीएस, नहीं पहचान सके ड्यूटी पर तैनात डाक्टर

दीवार पर डीएस व प्रबंधक का मोबाईल नंबर अंकित करने का डीएस को दिया निर्देश
आपातकालीन कक्ष के गार्ड, स्वास्थ कर्मी व चिकित्सक तक अपने कक्ष में सोए मिलें

डुमरांव. अनुमंडलीय अस्पताल में शुक्रवार को आधी रात सिविल सर्जन औचक पहुंच गए. इस दौरान ड्यूटी पर तैनात डाक्टर उनको पहचान नहीं सके. कड़ाकें की ठंड के बीच आधी रात को अस्पताल का निरीक्षण किए जाने की घटना को लेकर लोगों के बीच सीएस की प्रशंसा सहित चर्चा का बिषय बना हुआ है. बता दें इससे पहले भी एक बार पगड़ी बांध कर निरीक्षण किया था, उस समय भी डाक्टर नहीं पहचान सके थे.

बता दंे कि प्रताप सागर मेथोडिस्ट अस्पताल में क्रिसमस पर आयोजित कार्यक्रम के समापन बाद सीएस अनुमंडल अस्पताल पहुंच गए. अंदर प्रवेश करते ही अस्पताल के आपातकालीन कक्ष व प्रवेश द्वार के पास की स्थिति देख सीएस चौक गए. सबसे पहले सीएस की नजर सुरक्षा प्रहरी को कुर्सी पर कंबल में नींद की झपकी लेते देखा. साथ में कर्मी से सुरक्षा प्रहरी का नाम नोट करने का निर्देश देने के साथ आपातकालीन कक्ष चल दिए.

सबसे पहले चिकित्सक कक्ष का दरवाजा बंद पाए जाने पर दरवाजा को खटखटा कर खुलवाया. कक्ष के अंदर से ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक डा. लोकेश कुमार निकलते साथ कहां कर्मी कक्ष बगल में है. डाक्टर की वाक्या सुन सीएस मुस्कुराते आगे निकल पड़े. मौक पर मौजूद कर्मी द्वारा सीएस के पहंुचने की खबर व परिचय बताया गया, उसके बाद डाक्टर साहब की नींद पूरी तरह खुल गई.

बना देर करते हुए सीएस के समक्ष पहुंचे. स्टाफ कक्ष का दरवाजा बंद पाए जाने पर सीएस को खटखटा कर खुलवाना पड़ा. सीएस दूसरे तले पर प्रसव कक्ष का निरीक्षण करने पहुंचे. वहां की स्थिति से संतुष्ट दिखें. सीएस डा. सुरेश चंद्र सिन्हा ने बताया कि निरीक्षण के दौरान अनुमंडलीय अस्पताल के अंदर साफ-सफाई में कमी पाई गई.

कुर्सी पर बैठे सुरक्षा प्रहरी को कंबल की आड़ में नींद की झपकी लेते पाया गया. चिकित्सक बाद में उन्हें पहचानें. सीएस ने बताया कि डीएस एवं अस्पताल प्रबंधक का मोबाईल नंबर ओपीडी कक्ष के परिसर व प्रवेश द्वार के पास दीवार पर अंकित होना चाहिए, जो नहीं पाया गया.

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